होशियारपुर (वीकेंड रिपोर्ट) : भाजपा नेताओं पूर्व कैबिनेट मंत्री तीक्ष्ण सूद, जिला अध्यक्ष निपुण शर्मा, हरदोखानपुर मंडल अध्यक्ष अश्विनी गैंद द्वारा जारी प्रेस नोट में कहा गया है कि एक तरफ तो कोरोना बीमारी से ग्रस्त मरीज वैसे ही बीमारी भारी परेशानी में होते हैं, परंतु दूसरी तरफ कोरोना मरीजों का इलाज करने को अधिकारित किए गए प्राइवेट अस्पतालों में उनकी जमकर लूट की जाती है, बेशक सरकार ने प्राइवेट अस्पतालों में कोरोना मरीजों के इलाज के लिए रेट तय किए गए हैं, परंतु किसी भी प्राइवेट अस्पताल में रेटों की सूची आम जनता के देखने के लिए लगाई नहीं गई।
एक बार कोरोना मरीज प्राइवेट अस्पताल में पहुंच जाए तो डेढ़ दो लाख से कम में नहीं छूटता। कोरोना के नाम पर मरीज से मिलने की भी मनाही है इसलिए प्रियजनों को यह भी पता नहीं चलता कि उसका क्या इलाज चल रहा है तथा उसका स्वास्थ्य कैसा है। पंजाब सरकार चाहे जितना मर्जी कोरोना के सरकारी इलाज के लिए बोल ले, परंतु अब स्थिति यह है कि सिविल अस्पतालों में ना ही डॉक्टर हैं, ना ही अन्य स्टाफ है और ना ही दवाई, बिस्तरे व ऑक्सीजन आदि है। वहां गरीब भगवान भरोसे बैठे रहते हैं।
तीक्ष्ण सूद ने कहा कि कैप्टन सरकार ऑक्सीजन भरोसे बाहर निकलकर स्थिति को सुधारने के लिए काम करें ताकि कीमती जानें बचाई जा सके। उन्होंने कहा कि रोगियों से पहले से तय रेटों से अधिक पैसे लेने वाले प्राइवेट अस्पतालों की भी नकेल कसी जाए।
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