नई दिल्ली (वीकैंड रिपोर्ट): पब्लिक प्रोविडेंट फंड (पीपीएफ) स्कीम आम आदमी के निवेश के सबसे बेहतरीन विकल्पों में से एक माना जाता है। बिना जोखिम के निवेश करना चाहते हैं तो पीपीएफ बाजार में मौजूद अन्य विकल्पों से बेहतर माना जाता है। अगर आप लॉन्ग टर्म में निवेश करने की सोच रहे हैं तो पीपीएफ से जुड़ सकते हैं। इसमें निवेशकर्ता को ब्याज के साथ-साथ बेहतर रिटर्न मिलता है। फिलहाल इसमें 7.1% सालाना ब्याज दिया जा रहा है।
इसके साथ ही पीपीएफ खाताधारकों को लोन की सुविधा मिलती है। लोन के लिए कुछ शर्तें निर्धारित की गई हैं। शर्तों के मुताबिक एक निवेशकर्ता को लोन पीपीएफ अकाउंट खुलवाने के पहले वित्त वर्ष की समाप्ति के बाद दूसरे साल से लेकर पांचवें साल के वित्त वर्ष की समाप्त तक मिल सकता है।
यानी की पहले साल लोन की सुविधा नहीं मिलती। तीन साल तक तय निवेश करने के बाद ही इस सुविधा का लाभ लिया जा सकता है। इसके अलावा तीसरे साल से लोन कितना मिलेगा इसकी भी शर्त रखी गई है।
शर्तों के मुताबिक दो साल में जमा राशि का अधिकतम 25 फीसदी ही लोन के रूप में मिल सकता है। हालांकि, जितनी राशि का लोन लिया जाता है, उसको चुकाए नहीं जाने तक कोई ब्याज नहीं मिलता है। आप 36 महीनों के लिए लोन ले सकते हैं।
खास बात यह है कि इस लोन पर पहले मूलधन चुकाना होता है और उसके बाद ब्याज। वहीं अगर आप पूरा मूलधन चुका देते हैं लेकिन ब्याज का कुछ हिस्सा नहीं दे पाते तो पीपीफ बचत से यह पैसा काट लिया जाता है। पीपीएफ लोन पर ब्याज की दर निवेशकर्ता को पीपीएफ खाते पर मिल रहे ब्याज से एक फीसदी ज्यादा होती है।