धर्म (वीकैंड रिपोर्ट) : Shri Krishna Janmashtami : आज कृष्ण जन्माष्टमी का त्यौहार है। पूरे भारत में यह त्यौहार धूम-धाम से मनाया जा रहा है। भारत से बाहर भी कई देशों में कृष्ण जन्माष्टमी का त्यौहार मनाया जा रहा है। बात करते हैं पकिस्तान की क्या वहां भी कृष्ण जन्माष्टमी का त्यौहार मनाया जाता है? भारत के इलावा और भी बहुत सारे देश है जहां जन्माष्टमी के त्यौहार को लोग बहुत ख़ुशी से मनाते है। हम आपको बताते है कि क्या पाकिस्तान में कृष्ण मंदिर हैं भी या नहीं अगर है तो वहां के लोग कृष्ण जन्म का उत्सव कैसे मनाते है?
क्या पाकिस्तान में मनाई जाती है जन्माष्टमी?
पाकिस्तान में सारे लोग मुस्लिम ही नहीं हिन्दू भी रहते है। पाकिस्तान के हिंदू लोग भी भारत की तरह ही कृष्ण जन्माष्टमी को धूमधाम से मनाते हैं। यहां के हिन्दू लोग रात में कृष्ण मंदिरों में जाते हैं। भले ही पकिस्तान में कई हिंदू मंदिरों पर हमले हुए है और यहाँ हिन्दू मंदिरों की संख्या कम हुई है इसके बावजूद भी पाकिस्तान में कई कृष्ण मंदिर हैं, जहां लोग इस त्यौहार को मनाते है।
पाकिस्तान में अमरकोट नाम की एक जगह है यहाँ के लोग हर साल जन्माष्टमी मनाते है और यहाँ की बहुत सारी तस्वीरें भी सामने आती हैं। अमरकोट के इलाके में 52 फीसदी से ज्यादा हिन्दू लोग रहते है। भारत की तरह यहां भी इस दिन हिंदू मंदिरों की फूलों और रंगोली के साथ सजावट की जाती है मंदिरों को खूब सजाया जाता है और लोग मंदिर जाते हैं। साथ ही छोटे बच्चों को भी भगवान् कृष्ण के रूप में सजाया जाता है। जन्माष्टमी पर आपको यहां बच्चों को भगवान कृष्ण की ड्रेस पहने देखा जा सकता है और लोग विधि विधान के अनुसार भगवान् कृष्ण की पूजा करते हैं।
Shri Krishna Janmashtami : कृष्ण मंदिरों की गिनती
पाकिस्तान में हिंदू मंदिर काफी कम रह गए है। कई मंदिरों को तोड कर उनका रूप बदल दिया गया है और उन्हें दूसरी इमारतों में तब्दील कर दिया गया है। अगर कृष्ण मंदिरों की बात करें तो पाकिस्तान के लाहौर, रावलपिंडी, इस्लामाबाद, कराची आदि जगहों में कृष्ण मंदिर हैं। साथ ही कुछ रिपोर्ट्स ने बताया कि एबटाबाद और हारीपुर के कृष्ण मंदिर को तोड़ दिया गया है। इस्कॉन के भी कई मंदिर हैं, जो कराची, लरकाना, सिंध, हैदराबाद में है. अब बहवालपुर, पंदाब, मिरवाह, क्वेटा, बलोचिस्तान में भी इस्कॉन का विस्तार हो रहा है.