गिरफ्तार आरोपी की पहचान उत्तर प्रदेश के जिला रायबरेली के गांव सिजणी निवासी मुकेश कुमार के तौर पर हुई है। मुकेश बूटा पिंड में गोपी का वेहड़ा में रहता है। लड़की बिहार के जिला अररिया के थाना मदनपुर के गांव वरदान अराइया की निवासी है। वह अपनी बहन और जीजा के साथ रहती थी। दोनों के प्रेम संबंध बने तो 18 साल की लड़की गर्भवती हो गई। उसको सातवां महीना चल रहा था।
मुकेश ने एक चिकित्सक से बात की तो उसने गर्भ गिराने की दवा दे दी। मुकेश ने दवा लड़की को पिला दी, जिससे बाथरूम में उसकी डिलीवरी हो गई। इसके बाद मुकेश ने बच्चा उठाकर प्लाट में फेंक दिया लेकिन उसकी सांस चल रही थी। आसपास कुत्ते मंडरा रहे थे। सैर कर रहे लोगों ने खाली प्लाट से बच्चे की रोने की आवाज सुनी।
शिशु को जालंधर के सिविल अस्पताल में दाखिल करवाया गया था। लेकिन कोरोना के कारण वेंटिलेटर नहीं मिलने पर उसकी हालत बिगड़ने पर उसे अमृतसर रेफर कर दिया गया। श्री गुरुनानक देव जी अस्पताल स्थित पीडिएट्रिक विभाग में वेंटिलेटर पर रखकर शिशु का उपचार किया जा रहा था। शरीर में भारी इंफेक्शन था और सांस लेने में भी तकलीफ थी।
डॉक्टरों ने नवजात को बचाने का भरसक प्रयास किया लेकिन शुक्रवार देर रात उसकी मौत हो गई। डॉक्टरों ने नवजात का शव पुलिस के हवाले कर दिया है। थाना छह के एसएचओ सुरजीत सिंह का कहना है कि पुलिस ने मुकेश को काबू कर लिया है। अब दवाई देने वाले चिकित्सक की तलाश की जा रही है। इसके अलावा लड़की को खोजा जा रहा है। उसको भी गिरफ्तार किया जाएगा।